आइए धर्मशाला से कोलकाता तक की इस कहानी की टाइमलाइन पर एक नज़र डालते हैं :
11 दिसंबर, 2015: वर्ल्ड टी-20 कार्यक्रम की घोषणा। 19 मार्च को सुपर 10 का भारत-पाकिस्तान मैच धर्मशाला में।
9 फ़रवरी, 2016: पीसीबी अध्यक्ष शहरयार खान का बयान, सरकार के साथ बातचीत के बाद ही पाकिस्तान विश्व कप में खेलने पर फ़ैसला करेगा।
25 फ़रवरी, 2016: पाकिस्तान ने टीम को भारत में खेलने के लिए दी हरी झंडी।
29 फ़रवरी, 2016:हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह ने गृहमंत्रालय को लिखा पत्र, भारत पाकिस्तान धर्मशाला मैच को लेकर सुरक्षा ना दे पाने की कही बात, केंद्र से मांगी सुरक्षा, वेन्यू बदलने की भी कही बात।
1 मार्च, 2016 : बीसीसीआई सचिन अनुराग ठाकुर ने हिमाचल प्रदेश मुख्यमंत्री के गृह मंत्रालय को लिखे पत्र पर जताई चिंता। पत्र में मैच के लिए सुरक्षा नहीं दे सकने की बात थी।
3 मार्च, 2016 : पीसीबी ने भारत सरकार से मांगा सुरक्षा का भरोसा, नहीं तो टूर्नामेंट से नाम वापिस लेने की बात कही।
5 मार्च, 2016 : पाकिस्तान सरकार ने 3 सदस्यीय सुरक्षा दल बनाया जो भारत में पाकिस्तान टीम से संबंधित सुरक्षा का जायज़ा करेगा..इस दल की मंज़ूरी के बाद ही टीमों को भारत भेजे जाने की बात कही।
7 मार्च, 2016 : पाकिस्तानी सुरक्षा दल भारत पहुंचा और सुरक्षा का जायज़ा लिया।
8 मार्च, 2016 : टूर्नामेंट निदेशक एमवी श्रीधर ने गृहमंत्री राजनाथ सिंह से मिलने के बाद कहा कि मैच घर्मशाला में ही खेला जाएगा, राज्य सरकार ने सुरक्षा का भरोसा दिया है
8 मार्च, 2016 : पाकिस्तानी सुरक्षा दल की रिपोर्ट में सुरक्षा का भरोसा ना दिए जाने की बात कही गई और अहम बिंदुओं पर सुरक्षा के सवाल खड़े किए गए..पाकिस्तान ने आईसीसी ने वेन्यू
बदलने की मांग की, टीम की भारत रवानगी पर लगाई रोक।
9 मार्च, 2016 : मैच कोलकाता में शिफ़्ट कर दिया गया। आईसीसी सीईओ डेव रिचर्डसन ने कहा कि सुरक्षा कारणों के चलते वेन्यू बदलना पड़ा।
9 मार्च, 2016 :पीसीबी ने मांगी सुरक्षा की लिखित गारंटी, लिंखित गारंटी मिलने तक टीम की रवानगी पर लगाई रोक।